आइल आइल राखी के तिउहार भईया परदेशी ना अइले…
गोरखपुर
भावे सावन के रिमझिम फुहार पिया आईल बहार पिया ना…
गोरखपुर। स्वर गुंजन की ओर से 10 दिवसीय लोक गीत कार्यशाला आयोजित किया गया। रविवार को दुर्गा मंदिर अशोक नगर स्थित स्वर गुंजन कजरी कार्यशाला में मोहन पांडेय भ्रमर द्वारा रचित मिर्जापुरी कजरी जिसके बोल- भावे सावन के रिमझिम फुहार पिया आइल बहार पिया ना और रमेश सिंह दीपक के द्वारा रचित रक्षाबंधन गीत आइल आइल राखी के तिउहार भईया परदेशी ना अइले… को अंतर्राष्ट्रीय लोकगायक राकेश उपाध्याय द्वारा प्रशिक्षण दे रहे हैं।
राकेश उपाध्याय ने बताया कि इस कार्यशाला में gav बच्चे गाँव से लेकर विश्वविद्यालय के छात्र छात्राएं भाग ले रहे हैं।
उन्होंने बताया कि स्वर गुंजन की ओर से आयोजित यह 10 दिवसीय कार्यशाला बिल्कुल निःशुल्क संचालन किया जा रहा है। राकेश उपाध्याय ने कार्यशाला में सहयोग प्रदान करने के लिए अध्यक्ष शरद चन्द्र पांडेय एवं अशोक नगर दुर्गा मंदिर समिति के प्रति आभार प्रकट किया।
कार्यशाला में मनीष श्रीवास्तव, पुनीत श्रीवास्तव, जितेंद्र पासवान, सुमित पासवान, लक्ष्मी पासवान, कर्शनेश्वरी उपाध्याय, कुलदीप उपाध्याय, खुशी मिश्रा, बिगोनि निषाद, दिलीप निषाद, व्यास शर्मा, गौतम मद्धेशिया, प्रतिज्ञा उपाध्याय एवं धनंजय उपाध्याय ने भाग लिया।