जनकपुर से अयोध्या के लिए चली “भार सनेश यात्रा” देर रात गोरखपुर पहुंची, अयोध्या के लिए रवाना 

गोरखपुर

नेपाल और भारत का रिश्ता तो रोटी-बेटी का

जनकपुर के फूलों से एक बार पुनः महका गोरक्ष नगरी

गोरखपुर। नेपाल और भारत का रिश्ता तो रोटी-बेटी का ऐसे ही नहीं बना हुआ है। यह रिश्ता सदियों पुरानी है जो आज भी कायम है। तभी तो माता सीता के मायके जनकपुर के मंदिर से श्रीराम जन्मभूमि पर बना रहे भव्य राम मंदिर के निर्माण में अपने संबंधी होने का दायित्व का निर्वहन एक बार पुनः किया। नेपाल राष्ट्र ने बेटी (सीता माता) के ससुराल में होने वाले मांगलिक कार्यक्रम पर “भार सनेश यात्रा” अयोध्या के लिए रवाना किया, जो देर रात गोरखपुर पहुंची।
गोरखपुर में आगमन पर विश्व हिंदू परिषद के कार्यकर्ताओं ने यात्रा का जोरदार स्वागत किया। विभिन्न स्थानों पर यात्रा का स्वागत पुष्प वर्षा कर किया गया। नगर में आगमन पर सबसे पहले कुसमी में हुआ। यहां पर जिला संयोजक रंजीत कसौधन तो पैडलेगंज पर विभाग मंत्री शीतल के नेतृत्व में कार्यकर्ताओं द्वारा भव्य स्वागत किया गया।
यात्रा में सम्मिलित जानकी मंदिर के महंत रोशन दास महाराज ने बताया कि भगवान श्री राम हमारे जमाई हैं। अतः जमाई के घर मांगलिक कार्यक्रम में हम सब “भार संदेश” देने का परंपरा है। इसी परम्परा को निर्वहन करते हुए जनकपुर से अयोध्या धाम के लिए रवाना हुए हैं। उन्होंने बताया कि भार संदेश में मिठाइयां जैसे खाजा, लड्डू, बर्फी, बालूशाही और आभूषण के अलावा पूरे परिवार के कपड़े व अन्य सामग्रियां उपहार स्वरूप लेकर अपने जमाई जी के यहां अयोध्या धाम जा रहे हैं। “भार संदेश यात्रा” में नेपाल राष्ट्र के सैकड़ो श्रद्धालु अयोध्या धाम के लिए रवाना हुए हैं।
यह यात्रा आज रात में बाबा गोरखनाथ के तपोस्थली गोरखपुर विश्राम करेगी और पुनः शनिवार को प्रातः यहां से निकल कर अयोध्या धाम पहुंचकर यह सभी सामान तीर्थ क्षेत्र न्यास के महासचिव चंपत राय जी को सुपुर्द करेंगे।
गोरखपुर में मुख्य रूप से प्रचार प्रमुख दुर्गेश त्रिपाठी प्रसार प्रमुख, मनोज गौड़ जिला अध्यक्ष सूर्यनाथ, महानगर संगठन मंत्री सोमेश, विभाग मंत्री शीतल कुमार मिश्र, मनोज, देवीलाल, मुकेश, धननजय, रवि, अनुज, विकाश, समीर, अनमोल, संजय, रामप्रीत, अमन समेत बड़ी संख्या में कार्यकर्ता ने स्वागत किया।

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