रामानुजन गणित के जादूगर थे : शिवेंद्र प्रताप मिश्र
गोरखपुर
गोरखपुरl सरस्वती शिशु मंदिर पक्की बाग में गणित दिवस के पूर्व संध्या पर कार्यक्रम को संबोधित करते हुए विद्यालय के गणित प्रमुख एवं गणित के प्रवक्ता आचार्य शिवेंद्र प्रताप मिश्र ने कहा कि श्रीनिवास रामानुजन गणित के जादूगर थे l ये पल भर में गणित के बड़े से बड़े सूत्र हल कर देते थे l इनके द्वारा दिये गये सिद्धांत पर लोग आज शोध कर रहे हैं l इनकी ख्याति देश ही नहीं संपूर्ण विश्व में विख्यात है l गणित में इन्होंने जितना दिया है, कितना भी प्रशंसा किया जाए कम है l श्रीनिवास रामानुजन का जन्म 22 दिसंबर, 1887 को तमिलनाडु के इरोड में हुआ था l
रामानुजन को गणित में कोई औपचारिक प्रशिक्षण नहीं मिला थाl
उन्होंने मैथेमैटिकल अनालिसिस, नंबर थ्योरी, इनफ़िनिट सीरीज़, और कंटीन्यूड फ़्रैक्शन जैसे गणित के विषयों में काम किया lरामानुजन ने बिना किसी सहायता के हज़ारों रिजल्ट्स और इक्वेशन तैयार किएl
रामानुजन ने गणित को आसान बनाने के लिए और लोगों के बीच इसकी लोकप्रियता बढ़ाने के लिए काफ़ी कोशिश की रामानुजन को ब्रिटेन की रॉयल सोसाइटी का फ़ेलो चुना गया था l रामानुजन, कैम्ब्रिज यूनिवर्सिटी के ट्रिनिटी कॉलेज के फ़ेलो चुने जाने वाले पहले भारतीय थे l26 अप्रैल, 1920 को 32 साल की उम्र में उनका निधन हो गया l भारत सरकार ने 26 फ़रवरी, 2012 को मद्रास विश्वविद्यालय में श्रीनिवास रामानुजन की 125वीं जयंती के अवसर पर 22 दिसंबर को राष्ट्रीय गणित दिवस मनाने का ऐलान किया था l
इस अवसर पर वैदिक गणित प्रमुख हरिकिशुन गिरी, फनीश तिवारी, विनय चतुर्वेदी,संतोष मल्ल एवं छात्रा बहन वैभवी सिंह,प्रगति शर्मा ने भी अपने विचार व्यक्त किया l
इस अवसर पर विद्यालय के प्रधानाचार्य डॉ राजेश सिंह प्रथम सहायक रुक्मिणी उपाध्याय जी सहित समस्त विद्यालय परिवार उपस्थित रहा l